फैराडियन को आईसीएम ऑस्ट्रेलिया से मिला सोडियम-आयन बैट्रियों का पहला ऑर्डर

                                           


 फैराडियन सोडियम-आयन बैट्रियों के विनिर्माण के लिए भारत को बेहतर गंतव्य के रूप में देखती है


 सोडियम-आयन बैट्री टेक्नोलॉजी क्षेत्र की अग्रणी कंपनी फैराडियन लिमिटेड ने आईसीएम ऑस्ट्रेलिया से पहला ऑर्डर मिलने की जानकारी दी। लिथियम-आयन बैट्रियों की तुलना में अपनी श्रेष्ठता साबित कर चुकीं सोडियम-आयन बैट्रियां दुनियाभर में ऑटोमोबाइल/मोबिलिटी, स्टोरेज और मोबाइल सेक्टर में क्रांतिकारी बदलाव लाने में सक्षम है।


फैराडियन की सोडियम-आयन टेक्नोलॉजी में कोबाल्ट और लिथियम जैसी महंगे तत्वों के स्थान पर आसानी से उपलब्ध सोडियम का इस्तेमाल करते हुए पारंपरिक रासायनिक क्रिया जैसा ही नतीजा मिलता है। लिथियम-आयन बैट्रियों से इतर फैराडियन के सोडियम-आयन बैट्रियों की थर्मल स्टेबिलिटी एवं सेफ्टी बहुत ज्यादा होती है। साथ ही इन्हें आसानी से एक से दूसरी जगह ले जाया जा सकता है और जीरो वोल्ट पर आसानी से मैंटेन किया जा सकता है।


भारत दुनियाभर में मोबाइल के सबसे बड़े बाजारों में से है। हाल में यहां इलेक्ट्रिक वाहन टेक्नोलॉजी को अपनाने में भी काफी तेजी दिखी है, जिससे फैराडियन के लिए भारत प्राथमिकता वाला बाजार बनकर सामने आया है। इसी के साथ, दुनिया इस समय चीन की लिथियम-आयन बैट्रियों का विकल्प तलाश रही है और फैराडियन की सोडियम-आयन आधारित टेक्नोलॉजी बेहतर समाधान दे रही है। इस दिशा में बढ़ते हुए फैराडियन विभिन्न जरूरतों के हिसाब से अपनी सोडियम-आयन बैट्रियां बनाने के लिए भारत में मैन्यूफैक्चरिंग की संभावनाओं पर भी सक्रियता से कदम उठा रही है।



फैराडियन के सीईओ  जेम्स क्विन ने कहा कि अपने परफॉर्मेंस, सेफ्टी और कीमत के चलते अमेरिका, यूरोप और भारत जैसे क्षेत्रों से बेहतर प्रतिक्रिया मिलने के बाद बाजार परिस्थितियों के हिसाब से ऑस्ट्रलिया फैराडियन के लिए अगला बेहतर बाजार है। 


उन्होंने आगे कहा, “फैराडियन अपनी सुरक्षित, सस्ती सोडियम-आयन एनर्जी स्टोरेज टेक्नोलॉजी के बड़े पैमाने पर औद्योगीकरण की दिशा में लगी है। ऑस्ट्रेलिया के बाद हम भारत को अपने प्राथमिकता वाले बड़े बाजार के रूप में देख रहे हैं, जहां मोबाइल उपकरणों की मांग में तेज विकास देखा गया है और इलेक्ट्रिक मोबिलिटी का बाजार भी यहां तेजी से बढ़ने को है।" 


हाल के वर्षों में ऑस्ट्रेलिया और न्यूजीलैंड में रेजिडेंशियल, कमर्शियल और ग्रिड स्केल एप्लीकेशंस में बैट्री स्टोरेज के क्षेत्र में लगातार तेजी देखी गई है। स्टोरेज और सोलर सिस्टम की लागत में कमी; इलेक्ट्रिसिटी की बढ़ती लागत, ब्लैकआउट की चिंताओं तथा सरकार की तरफ से वित्तीय प्रोत्साहन एवं नीतियों के कारण ऐसा हुआ है


आईसीएम ऑस्ट्रेलिया से मिले इस ऑर्डर के बारे में आईसीएम ऑस्ट्रेलिया इंवेस्टमेंट डायरेक्टर श्री थॉमस ग्रेगसन ने कहा, "विश्वस्तरीय सोडियम-आयन टेक्नोलॉजी के वाणिज्यिकरण की दिशा में यह ऑर्डर एक ऑस्ट्रेलियन कंपनी का पहला कदम है और हमें ऑस्ट्रेलियाई बाजार में सुरक्षित और सस्ते प्रीमियम प्रोडक्ट देने की खुशी है।"


ग्रेगसन ने आगे कहा, "हमने हाल के दिनों में एनर्जी स्टोरेज सॉल्यूशंस में लगातार रुचि को बढ़ता पाया है और हमें विश्वास है कि फैराडियन की टेक्नोलॉजी ग्राहकों को आकर्षक आरओआई पर ग्राहकों को एनर्जी सिक्योरिटी का बेहतर तरीका दे सकती है।


आईसीएम ऑस्ट्रेलिया इस साल के आखिर तक ऑस्ट्रलियाई बाजार में फैराडियन की सोडियम-आयन बैट्रियों को उपलब्ध कराने की उम्मीद कर रही है।